भारत में किसी भी शुभ काम से पहले मीठा दही खाना
शुभ माना जाता है। हमारे देश में दही को अमृत माना जाता है। वही परीक्षा से पहले हर
मॉ अपने बच्चे को दही खिलाकर भी भेजती है। दही के सेवन से रोग प्रतिरोधक क्षमता को
बढाता है। दही में प्रोबायोटिक्स होते है, जो सफेद रक्त कोशिकाओं के उत्पादन को बढाता है।
दही कम कैलोरी वाला भोजन है, जो वजन
घटाने में काफी मदद करता है। इसमे उच्च मात्रा में प्रोटीन भी होता है, जो भूख कम करने और
तृप्ति बढ़ाने में मदद करता है। दही में कई पोषक तत्व होते है, जो स्वस्थ्य रखते
है। इसके सेवन से पेट के साथ कई अन्य बीमारियां भी दूर हो जाती है। तो चलिए जानते है, इसके उपयोग से होने
वाले 25 चमत्कारिक फायदें।
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1- दही बालों के लिए एक बेहतरीन कंडीशनर है, दही बालों में
जड़ से लगायें और 15-20 मिनट लगे रहने दें फिर बाल धुल लें। यह उपाय बालों की रूसी, रूखापन दूर कर
बालों को चमकदार और मुलायम बनाता है।
2-बालो में अगर रूसी ज्यादा है तो दही में
काली मिर्च पाउडर मिलाकर बालों की जड़ो में लगायें, थोड़ी देर लगे रहने के बाद धो लें।
3-दही में मुल्तानी मिटटी मिलाकर बालों में
लगायें! यह शैम्पू का काम करता है साथ ही बालों को झड़ने
से भी रोकता है।
4-दही में बेसन, चन्दन पाउडर और
थोडा सा हल्दी मिलकर उबटन चेहरे और शरीर पर लगायें! सूखने पर छुड़ा लें। आपकी त्वचा पर बेहतरीन चमक, निखार और
स्निग्धता आएगी।
5-अगर आपकी त्वचा तैलीय है तो दही शहद
मिलाकर चेहरे पर लगायें! यह उपाय चेहरे के अतिरिक्त तैलीय तत्व को दूर करता है।
6-चेहरे पर होने वाले दानो और मुहांसों के
उपचार के लिए खट्टी दही का लेप कर चेहरे पर लगायें। लेप सूखने पर चेहरे को अच्छी तरह से धोएं। इसा करने से आपको काफी फायदा होगा।
7-आयुर्वेद के मतानुसार गाय के दूध से बनने
वाला दही बलवर्धक, शीतल, पौष्टिक, पाचक और कफनाशक
होता है। वही भैंस के दूध से बनने वाला दही रक्त, पित्त, बल, वीर्यवर्धक, स्निग्ध, कफकारक और भारी
होता है।
9-मख्खन निकाला हुआ दही शीतल, हल्का, भूख बढानेवाला, वातकारक और दस्त
रोकने वाला होता है।
10-दही में कैल्शियम सबसे ज्यादा होता है
जोकि हड्डी, दांत, नाखून आदि का
विकास और संरक्षण करता है।
11-दही में कैल्शियम के अलावा विटामिन A, B6, B-12, प्रोटीन, राइबोफ्लेविन
पोषक तत्त्व पाए जाते होते हैं। जो हमारे शरीर के लिए बहुत फायदेमंद होते है।
12-दही मानव शरीर में श्वेत-रक्त कणिकाओं (White Blood Corpuscles) की
संख्या बढाता है। जिससे शरीर रोग मे रोोग प्रतिरोधक क्षमता का तेजी से विकास होता है।
13-एंटीबायोटिक दवाइयों के सेवन के
दुष्प्रभाव से बचने के लिए दही सेवन की सलाह डाक्टर भी देते हैं।
14-दही पेट के लिए अमृत समान माना गया है। दही आंतों और पेट की गर्मी दूर करता है और पाचन
तंत्र को सबल बनाता है।
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15- दही का ह्रदय रोग, हाई ब्लड प्रेशर, गुर्दे की बिमारियों में प्रयोग अच्छा
माना गया है।
16-बवासीर के उपचार के लिए छाछ में अजवायन
मिलाकर पीने से फाफी लाभ
होगा। सर्दी, खांसी और अस्थमा के रोगियों को दही का सेवन कभी नही करना चाहिए।
17-दस्त, कब्ज, पीलिया, दमा के रोगियों को दही के ऊपर का पानी भी फायदेमंद होता है। जिसका नियमित सेवन करने से काफी आराम मिलता है।
18- अगर आपके मुहं मे छालें हो गये है तो उनके उपचार के लिए दिन में दो तीन बार छालों पर दही लगायें। इससे आपको काफी राहत मिलेगी।
19-दही के नुकसान रहित सेवन करना चाहते है। तो दही में
काला नमक, सोंठ, पुदीना, जीरा पाउडर
मिलाकर खायें।
20-बहुत से लोगों को दूध आसानी से नहीं पचता
है, वो
लोग दही सेवन से दूध के सभी पोषक तत्वों को प्राप्त कर सकते हैं क्योंकि दही
सुपाच्य होता है।
21-दही हमेशा ताज़ा ही खाना चाहिए। दही के सेवन से नींद भी बढ़िया आती है।
22-दही से बहुत से बेहतरीन भोज्य पदार्थ
बनते है। जैसे लस्सी, छाछ, रायता इत्यादि। दही से बहुत तरह का रायता बनाया जा सकता है। जैसे
ककड़ी, प्याज, खीरा, टमाटर का रायता, बूंदी का रायता, अनानास का रायता
आदि।इनका सेवन गर्मियों में लू और डीहाईड्रेशन से हमें बचाता है।
23-जिन लोगों को पेट की परेशानियां जैसे कि अपच, कब्ज, गैस बीमारियां
घेरे रहती हैं। उनके
लिए दही या उससे बनी लस्सी, मट्ठा, छाछ का उपयोग
करने से आंतों की गरमी दूर हो जाती है। डाइजेशन अच्छी तरह से होने लगता है और भूख
खुलकर लगती है।
24-हड्डियों के लिए, दही में
केल्शियम की अच्छी मात्रा होती है,
जो के हमारे शरीर के हड्डियों के लिए फायदेमंद होता है। बच्चों को खास कर दही खिलाना चाहिए।
25-हाई ब्लड प्रेशर के रोगियों को रोजाना
दही का सेवन करना चाहिए।
Disclaimer- यहां पर दी गई जानकारी किसी भी चिकित्सीय सलाह का
विकल्प नहीं है, यह सिर्फ
शिक्षित करने के उद्देश्य से दी गई है।